जिला योजना की बैठक में 451 करोड़ का परिव्यय अनुमोदित,एक्सईएन लघु सिंचाई को प्रतिकूूल प्रविष्टि,महाराजा देवी बक्श के नाम होगा मेडिकल कालेज।

गोण्डा - शुक्रवार को जिला पंचायत सभागार में वित्तीय वर्ष 2020-21 हेतु जिला योजना समिति की बैठक जनपद के मा0 प्रभारी मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई, जिसमें समिति द्वारा 04 अरब 51 करोड़ रूपए का परिव्यय अनुमोदित किया गया। समिति की बैठक में विभागवार प्रस्तावित परिव्यय पर विस्तृत चर्चा तथा विभागीय योजनाओं की समीक्षा के उपरान्त समिति द्वारा उक्त परिव्यय का अनुमोदन दिया गया। लघु सिंचाई विभाग की योजनाओं की प्रस्तावित परिव्यय की समीक्षा के दौरान गत वर्ष की वास्तविक उपलब्धि बिना कार्य हुए ही दिखाने पर मा0 मंत्री जी ने अधिशासी अभियन्ता लघु सिंचाई को प्रतिकूल प्रविष्टि दिए जाने के निर्देश दिए।
जिला योजना समिति की बैठक में 43 विभागों के लिए 451 करोड़ रूपए के परिव्यय पर समिति द्वारा अनुमोदन दिया गया, जिसमें प्रमुख रूप से मनरेगा के लिए 21118.20 लाख, लोक निर्माण विभाग के लिए 7948.34 लाख, पंचायतीराज विभाग के लिए 1390.72 लाख, कृषि विभाग के लिए 28 लाख, गन्ना विभाग के 1012.44 लाख, लघु एवं सीमान्त कृषकों की सहायता हेतु 710 लाख, निजी लघु सिंचाई हेतु 86.50 लाख, पशुपालन हेतु 104.70 लाख, दुग्ध विकास हेतु 126.60 लाख, रा0 आजीविका मिशन हेतु 1615 लाख, राजकीय लघु सिंचाई हेतु 750.32 लाख, नेडा के तहत 14.20 लाख, बेसिक शिक्षा के लिए 65.35 लाख, माध्यमिक शिक्षा के लिए 1353.04 लाख, ग्रामीण आवास योजना के लिए 1304.40 लाख, छात्रवृत्ति के लिए 879.98 लाख, औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान के लिए 200 लाख, समाज कल्याण विभाग के लिए 2299.44 लाख तथा सहकारिता विभाग के लिए 500 लाख सहित अन्य विभागों के प्रस्तावित परिव्यय का अनुमोदन किया गया।
बैठक में मा0 प्रभारी मंत्री ने कहा कि जनपद के जनप्रतिनिधि व अधिकारीगण आपसी सामन्जस्य व समन्वय के साथ जनपद के विकास के लिए योजनाओं के गुणवत्तापूर्ण क्रियान्वयन में इस प्रकार योगदान दें कि जनपद में विकास को और अधिक बल मिले। उन्होंने कहा कि जनपद के सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर चिकित्सकों की तैनाती निश्चित रूप से रहे ताकि आमजन को चिकित्सीय सुविधाओं का लाभ मिल सके। उन्होंने अधिकारियों से अपेक्षा की कि वे पूरी तैयारी के साथ बैठक में आएं ताकि मा0 जनप्रतिनिधियों द्वारा पूछे गए प्रश्नों का ठीक प्रकार से उत्तर दे सकें। उन्होंने अधिकारियों को यह भी निर्देश दिए कि जनप्रतिनिधिगण से सम्बन्धित कार्यों को तत्काल कराना सुनिश्चित करें तथा यदि कार्य नहीं हो सकता है तो उन्हें समय से अवगत करा दें। उन्होंने बैठक में जनप्रतिनिधियों द्वारा उठाई गई विभिन्न समस्याओं के त्वरित निस्तारण के लिए भी अधिकारियों को निर्देश दिया है। बैठक में जनप्रतिनिधियों ने गोण्डा मेडिकल कालेज गोण्डा का नाम गोण्डा नरेश महाराज देवीबक्श सिंह के नाम पर रखने का प्रस्ताव रखा गया जिस पर मा0 प्रभारी मंत्री ने इसका प्रस्ताव कैबिनेट की बैठक में रखने का आश्वासन दिया।
बैठक में मा0 मंत्री जी ने एनआरएलएम योजनान्तर्गत स्वयं सहायता समूहों को उपलब्ध कराए गए रिवाल्विंग फण्ड की ब्लाकवार सूची जनप्रतिनिधियों को उपलब्ध कराने तथा खेतों में लगने वाले ब्लेड तार के बाड़़ जहां सड़कों तक लगा दिए गए हैं, उन्हें तत्काल हटवाए जाने के निर्देश दिए हैं  ताकि आवागमन में दिक्कत न हो।  उन्होंने पशाुपालन विभाग से सम्बन्धित समीक्षा में निर्देशित किया कि यदि कहीं पर गौ आश्रय स्थलों के माध्यम से पालतू जानवरों की आवारा पशुओं के नाम पर  टैगिंग कराने का मामला प्रकाश में आता है तो एफआईआर दर्ज कर कार्यवाही की जाय। इसके अतिरिक्त बैठक में उद्यान विभाग, दुग्ध विभाग, एनआरएलएम, खादी ग्रामोद्योग, पर्यावरण, माध्यमिक शिक्षा, बेसिक शिक्षा, पालीटेक्निक, प्रादेशिक विकास दल, नगरीय पेयजल, अनुसूचित जाति कल्याण, पिछड़ा वर्ग कल्याण, अल्पसंख्यक कल्याण, परिवार कल्याण, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी, छात्रवृत्ति योजनाएं, सेवायोजन समाज कल्याण, दिव्यांगजन सशक्तीकरण, महिला कल्याण पुष्टाहार कार्यक्रम, सहकारिता, औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान सहित अन्य विभागों के परिव्यय प्रस्तावों पर चर्चा कर उसे अनुमोदित किय गया।
बैठक में मा0 सांसद कैसरगंज बृजभूषण शरण सिंह, जिलाध्यक्ष सूर्य नारायण तिवारी, एमएलसी रणविजय सिंह, विधायक कटरा श्री बावन सिंह, विधायक तरबगंज श्री प्रेम नरायन पाण्डेय, मेहनौन श्री विनय द्विवेदी, गौरा श्री प्रभात वर्मा, डीएम डा0 नितिन बंसल, एसपी शैलेश कुमार पाण्डेय, सीडीओ शशांक त्रिपाठी, सांसद गोण्डा प्रतिनिधि रमाशंकर मिश्रा, विधायक मनकापुर प्रतिनिधि वेद प्रकाश दूबे, सांसद प्रतिनिधि संजीव सिंह, एमएलसी शिक्षा क्षेत्र के प्रतिनिधि अजीत सिंह, पूर्व अध्यक्ष अकबाल बहादुर तिवारी, के0के0 श्रीवास्तव, विष्णु प्रताप सिंह, अजय सिंह, धर्मपाल सिंह सहित अन्य जनप्रतिनिधि तथा अधिकारीगण उपस्थित रहे।

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