गोण्डा - पूर्व राष्ट्रपति डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन की जयंती शिक्षक दिवस पर बीते वर्षों में शिक्षण क्षेत्र में उल्लेखनीय काम करने, बच्चों में पढ़ाई के प्रति ललक पैदा करने और कोरोना काल में ऑनलाइन क्लास के संचालन में योगदान देने वाले 75 शिक्षकों को जिला पंचायत सभागार में डीएम मार्कण्डेय शाही व ज्वाइंट मजिस्ट्रेट सूरज पटेल द्वारा अंगवस्त्र एवं प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया।
बताते चलें कि प्रदेश सरकार द्वारा शिक्षक दिवस के अवसर पर प्रदेश के सभी 75 जनपदों में 75-75 उत्कृष्ट कार्य करने वाले शिक्षकों को सम्मानित करने का निर्णय लिया गया जिसके क्रम में रविवार को जनपद स्तर पर जिला पंचायत सभागार में डीएम द्वारा 75 शिक्षकों को सम्मानित किया गया।
दीप प्रज्वलित कर एवं पूर्व राष्ट्रपति डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के चित्र पर माल्यार्पण के उपरान्त बतौर मुख्य अतिथि जिलाधिकारी ने अपने संबोधन में कहा कि शिक्षक समाज की दशा और दिशा तय करते हैं। वे अपने ज्ञान के माध्यम से बच्चों में नैतिकता, राष्ट्र प्रेम व कुछ कर गुजरने का जज्बा भरने का काम करते हैं। उन्होंने कहा कि हमारे समाज में गुरू को भगवान से बड़ा दर्जा आदि काल से ही दिया गया है। आज के परिवेश में पुस्तकीय ज्ञान ही प्रासंगिता नहीं रह गई है, बल्कि सामाजिक मूल्यों की भी जानकारी देना आवश्यक है। उन्होंने कहा कि विगत वर्षों में प्रदेश सरकार शिक्षा के स्तर में सुधार हेतु नकल विहीन परीक्षाएं आयेजित कराने का प्रयास किया गया। इसी के साथ बालिका व महिला सशक्तीकरण को लेकर सरकार द्वारा तमाम योजनाएं संचालित की जा रही हैं। उन्होंने इस अवसर पर सम्मानित होने वाले गुरूजनों को बधाई दी।सम्मान समारोह में ज्वाइंट मजिस्ट्रेट/एसडीएम सदर सूरज पटेल ने कहा कि माता-पिता और शिक्षक दुनिया के सबसे बड़े मार्गदर्शक हैं। उन्होंने कहा कि बेसिक शिक्षा नींव मजबूत करने का काम करती है तो वहीं माध्यमिक शिक्षा बच्चों का वास्तविक चरित्र निर्माण का कार्य करती है। उन्होंने महान दार्शनिक अरस्तु के प्रेरणादायक विचारों के माध्यम से सभागार में उपस्थित अध्यापकों को प्रोत्साहित किया। जिला विद्यालय निरीक्षक राकेश कुमार ने विगत चार वर्षों में माध्यमिक शिक्षा के उन्नयन को लेकर प्रदेश सरकार द्वारा किए गए कार्यों का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि विगत चार वर्षों में सरकारी कालेजों मेें 73 अध्यापकों तथा अनुदानित विद्यालयों में 53 शिक्षकों की नियुक्ति की गई है तथा शीघ्र ही 21 संस्कृत विद्यालयों में अध्यापकों की नियुक्ति की जाएगी। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा विद्यालयों में संसाधनों एवं अवस्थापना सुविधाओं को लेकर बड़े पैमाने पर काम किया गया है। उन्होंने सभी शिक्षकों को इस अवसर पर बधाई दी। इस दौरान नारी ज्ञान स्थली महाविद्यालय की छात्राओं द्वारा सरस्वती वंदना एवं स्वागत गीत प्रस्तुत किया गया। कार्यक्रम में 75 माध्यमिक विद्यालयों के प्रधानाध्यापक एवं शिक्षकगण व कर्मचारीगण उपस्थित रहे।
Tags
Gonda